Monday, April 30, 2012

पाकिस्तानी लोकतंत्र की परीक्षा

जिसकी उम्मीद थी वही हुआ। पाकिस्तानी सुप्रीम कोर्ट ने प्रधानमंत्री युसुफ रज़ा गिलानी को अदालत की अवमानना का दोषी पाया। उन्हें कैद की सज़ा नहीं दी गई। पर अदालत उठने तक की सज़ा भी तकनीकी लिहाज से सजा है। पहले अंदेशा यह था कि शायद प्रधानमंत्री को अपना पद और संसद की सदस्यता छोड़नी पड़े, पर अदालत ने इस किस्म के आदेश जारी करने के बजाय कौमी असेम्बली के स्पीकर के पास अपना फैसला भेज दिया है। साथ ही निवेदन किया है कि वे देखें कि क्या गिलानी की सदस्यता खत्म की जा सकती है।

Friday, April 27, 2012

वैचारिक भँवर में फँसी कांग्रेस



हिन्दू में सुरेन्द्र का कार्टून
पिछले कुछ समय से कांग्रेस के भीतर विचार-विमर्श का सिलसिला चल रहा है। पिछले दिनों हुए विधान सभा चुनाव में कांग्रेस को उम्मीद से कम सीटें मिलीं, खासतौर से उत्तर प्रदेश और पंजाब में। अगले साल हिमाचल, गुजरात, कर्नाटक, मध्य प्रदेश, दिल्ली, राजस्थान, मेघालय, त्रिपुरा, नगालैंड और मिजोरम विधान सभाओं के चुनाव हैं। घटनाक्रम तेजी से बदल रहा है। तमाम राजनीतिक शक्तियाँ बदलते हालात में अपने लिए जगह खोज रहीं हैं।

Tuesday, April 24, 2012

अक्षय तृतीया पर हिन्दू का जैकेट

भारत के अखबारों के पास शानदार अतीत है और आज भी अनेक अखबार अपने पत्रकारीय कर्म का बखूबी इस्तेमाल कर रहे हैं। इनमें मैं हिन्दू को सबसे आगे रखता हूँ। पहले भी और आज भी। अखबार के सम्पादकीय दृष्टिकोण की बात छोड़ दें तो उसकी किसी बात से असहमति मुझे कभी नहीं हुई। हाल के वर्षों में हिन्दू व्यावसायिक दौड़ में भी शामिल हुआ है और बहुत से ऐसे काम कर रहा है, जो उसने दूसरे अखबारों की देखादेखी या व्यावसायिक दबाव में किए होंगे। पर ऐसा मैने नहीं देखा कि सम्पादक अपने अखबार की व्यावसायिक नीतियों और सम्पादकीय नीतियों के बरक्स अपनी राय पाठकों के सामने रखे।

Monday, April 23, 2012

राजनीतिक दलदल में आर्थिक उदारीकऱण

प्रधानमंत्री के आर्थिक सलाहकार कौशिक बसु ने भारतीय राजनीति के संदर्भ में जो कुछ कहा वह उनके गले पड़ गया और तकरीबन उन्हीं कारणों से जिनका जिक्र उन्होंने अपने वक्तव्य में किया था उन्हें अपनी बात वापस लेनी पड़ी। सरकार को भी अपनी सफाई में साबित करना पड़ा कि हम कारगर हैं और काम कर रहे हैं। पर क्या किसी को दिखाई नहीं पड़ा कि रेलमंत्री दिनेश त्रिवेदी ने रेल बजट में जो प्रस्ताव पेश किए थे वे किसी कारण से बदल गए। वे कौन से कारण थे? उसके पहले सरकार को खुदरा बाजार में विदेशी निवेश की अनुमति देने का आदेश वापस लेना पड़ा।

Sunday, April 22, 2012

अग्नि ज़रूरी है उसकी तपिश ज़रूरी नहीं

पिछले बुधवार को भारतीय मीडिया में सुबह से ही अग्नि-5 के परीक्षण की तैयारियों का विवरण जिस तरह आ रहा था उससे लगता है कि किसी स्तर पर इस खबर को सायास ओवरप्ले करने का फैसला किया गया था। पिछले कुछ समय से सेना और रक्षा व्यवस्था को लेकर नकारात्मक बातें मीडिया में आ रही थीं। शायद इस परीक्षण से उनका असर कुछ कम हो। बुधवार की शाम परीक्षण नहीं हो पाया, क्योंकि मौसम साथ नहीं दे रहा था, पर गुरुवार की सुबह परीक्षण सफल हो गया। उसके बाद दिनभर अग्नि की खबरें छाई रहीं।